बिलासपुर. नगर पालिक निगम बिलासपुर अंतर्गत वार्ड नंबर 65 संत नामदेव वार्ड इमलीभाठा के वाल्मीकि आंबेडकर आवास में पानी की समस्या से जन-जीवन अस्त व्यस्त हो गया है. रात के अंधेरे में बिजली गुल के कारण भीषण गर्मी और मच्छरों ने यहां के लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं, तो दिन में तपती दुपहरी के समय दूर से पानी लाकर प्यास बुझाने के लिए यहां के रहवासी विवश हैं.

असल में इस कॉलोनी में पानी का संकट पहले से ही है. आपूर्ति की प्रणाली इतनी अव्यवस्थित है कि लोगों को पानी की कमी से जूझना पड़ रहा है, तो दूसरी तरफ इसी कॉलोनी में पानी व्यर्थ भी बह रहा है. पाइप लाइन के मरम्मत की तरफ किसी का ध्यान नहीं है. लिहाजा लोगों के घरों तक पानी नहीं पहुंच रहा है. घरों तक तो दूर, अभी तो हालात ये हैं कि नलों में पानी नहीं आ रहा है, क्योंकि वाटर लेवल डाउन हो चुका है.
लोगों को साइकिल, बाइक, स्कूटी या अन्य साधनों से दूर से पानी लाना पड़ रहा है. इन्हीं परिस्थितियों के बीच 3 और 4 मई की दरमियानी शाम और रात में जो बारिश हुई, उसने इस कॉलोनी के जीवन को और भी संकट में डाल दिया. बारिश के साथ आई तेज आंधी ने जन-जीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया. इस कॉलोनी के कई पेड़ ऐसे हैं, जिनकी शाखाओं को मानसून पूर्व छंटाई की जरूरत है, क्योंकि वे मकानों या बिजली तार से लगे हुए हैं. इससे दुर्घटना की आशंका बनी हुई है. मानसून में जरूर अभी समय है, लेकिन ऐसे अचानक तेज आंधी के साथ होने वाली बारिश से यहां दुर्घटना हो सकती है, यदि समय पर सावधानी नहीं बरती गई.
3 मई की शाम कुछ देर की आंधी और बारिश के बाद बिलासपुर शहर के कई इलाकों के बिजली गुल हो गई. इमलीभांठा में तो दूसरे दिन बिजली आई. पूरी रात लोगों ने रतजगा करके गुजारी. पूरी रात मच्छर और गर्मी से लोग परेशान रहे. वाल्मीकि आंबेडकर आवास इमलीभांठा की गलियां रात में बारिश रुकते ही गुलजार हो गई, क्योंकि लोग गर्मी से राहत पाने घर से बाहर निकले, तो कुछ लोग छत पर चले गए. बिजली पूरी रात गुल थी, लोग गर्मी और मच्छर से से परेशान होते रहे. यह हालत कमोवेश यहां हर दिन की है.
भीषण गर्मी में पानी की तकलीफ जब असहनीय हो गई, तब 13 मई की शाम को इमलीभाठा के निवासी पार्षद तिहारी राम जायसवाल के पास पहुंचे. पार्षद घर पर नहीं मिले, बल्कि पार्षद के किराने की दुकान पर मौजूद उनकी फैमिली ने लोगों की समस्या और मांग को अपने कैमरे में कैप्चर किया और जल्द निराकरण कराने के वादा किया है. फिलहाल, अभी तक परेशानी बनी हुई है. आपको बता दें कि इसी हफ्ते प्रदेश में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय का बिलासपुर जिले में ही सीपत प्रवास है. ऐसे में पानी, बिजली जैसी मूलभूत आवश्यकताओं को लेकर जन-सामान्य का परेशान होना मुख्यमंत्री प्रवास कार्यक्रम में स्थानीय निकाय और प्रशासन की किरकिरी का सबब बन सकता है.

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